इन दिनों व्हाट्स एप्प पर एक ऐसा मेसेज वायरल हो रहा है जिसको अगर आप फेसबुक मैसेंजर के जरिए किसी दूसरे मित्र को भेजेंगे तो आपका फेसबुक अकाउंट बन्द हो जाएगा ।
मुझे भी इसी तरह का एक मेसेज प्राप्त हुआ था जिसको मैने जैसे ही फेसबुक मैसेंजर पर भेजा उसी वक्त मेरा अकाउंट Disable हो गया।
इसलिए सजग रहें और औरों को भी बतायें।
शुक्रवार, 10 अगस्त 2018
व्हाट्स एप्प से आए मेसेज को फेसबुक मैसेंजर पर भेजने से बन्द हो रहा है फेसबुक अकाउंट।
रविवार, 1 अप्रैल 2018
विद्युत विभाग की अनदेखी के चलते हादसे को न्योता दे रहे तार व क्षतिग्रस्त खम्भे ।
पोषाल । ग्राम पंचायत मुख्यालय से लगभग दो किलोमीटर दूर विद्युत खम्भो पर ढीले तार कई दिनो से हादसे को न्योता दे रहे हैं, विभागीय कर्मचारी रखरखाव कार्यक्रम चलाकर खानापूर्ति कर रहे है।
सिर्फ 200 मीटर के दायरे में ही ढीले तार और क्षतिग्रस्त खम्भे है। तार पेङो को छू रहे है और क्षतिग्रस्त खम्भे सिर्फ बैलेंसिग तार के जरिए खङे है।
कई बार सूचित करने पर भी ध्यान नहीं दिया गया।
जिससे वर्षा ऋतु में दुर्घटना की आशंका और भी बढ़ जाती है।
सोमवार, 26 फ़रवरी 2018
हर बार फीलिंग Sad से डाली पोस्ट , आखिरी दिन भी मित्र से हुई चैट में भावुक ....!
बाड़मेर| मालानी ट्रेन के आगै कूदकर जान देने वाले युवक की जान शायद बच सकती थी ,अगर युवक द्वारा बार-बार की गई फेसबुक पोस्ट और अपने मित्र से मेसेंजर पर हुई बातचीत को परिवारजन और उनके दोस्त गंभीरता से लेकर समझाइश करते, खैर जो भी हुआ गलत हुआ | मैं परिवार और दोस्तों को दोषी नहीं मानता हूं, मौत के बाद हम कई तरह की बातें करते हैं पर जो कुछ घटित होना था वो हो चुका था|
गणपत डोगियाल द्वारा डाली गई ज्यातर पोस्ट sad feeling वाली थी , जिसे देखकर लगा कि कुछ ख्वाहिश रही होगी जो पूरी नहीं हुई और उसके पूरे होने की बजाय उसे धोखा मिला हो|
दर्द भरे लहजे में लिखी गई पोस्ट उस आदमी के गुजरने के बाद पढने वालों का भी कलेजा चीर रही है , एेसा क्या कारण था वो शायद वही जानता हो...
चन्द दिन पहले हुए हरीश जाखड़ मर्डर के सदमे से उबरे ही नहीं थे कि एक और तारा टूट गया...!
शुक्रवार, 26 जनवरी 2018
पोशाल में धूमधाम से मनाया गणत़्ंत्र दिवस , बच्चों ने दी प्रस्तुतिया
पंचायत मुख्यालय पर ध्वजारोहण श्री ईसा खांन राजड़ व खेमाराम सऊ ने किया और सहभागिता समाजसेवी हीराराम सऊ,चुतराराम सऊ और रूगाराम सऊ तथा ग्रामसेवक भीखाराम ने निभाई|
चन्द मिनट बाद माध्यमिक विद्यालय में भी ध्वजारोहण कार्यक्रम शुरु हुआ जिसमें ध्वजारोहण बरिष्ट नागरिक बांकाराम सऊ और खेमाराम सऊ, हीराराम सऊ तथा ईसा खांन राजड़ तथा संस्था प्रधान गंगाराम ने किया |
गणतंत्र दिवस के मौके पर बच्चों ने प्रैरणादायक गीतों के साथ कई देशभक्ति कार्यक्रम पेश किए|
मंगलवार, 23 जनवरी 2018
घरेलु विद्युत कनेक्शन डिमाण्ड नोटिस जारी नहीं हुआ तो करें ये काम ...
मेरे नाम से डिमाण्ड जारी न होने की वजह से मैंने डिस्कॉम जाकर कारण पूछा तो उन्होने गडरा चौराहा स्थित कम्पनी गैलेक्सी के दफ्तर सम्पर्क करने को कहा| वहां के कर्मचारीयों से पूछने पर उन्होने कहा कि जो आवेदक बीपीएल, स्टेट बीपीएल और प्रधानमंत्री आवास लाभार्थी है वो अपनी फाईल गैलेक्सी दफ्तर में जमा करवाएं जिनका कोई डिमाण्ड शुल्क नहीं लगेगा | और बाकी आवेदक डिस्कॉम कार्यालय मे अपनी फाईल जमा करवाएं, साथ में उन्होने ये भी कहा कि जो परिवार सर्वे से वंचित रह गया है और उनके करीब ३०० से ५०० मीटर की दूरी पर विद्युत कनेक्शन है या दिया जा रहा है ,उसे भी इस योजना से लाभान्वित किया जाएगा बशर्त उन्हे अपनी फाईल जमा करवाकर रसीद पास रखनी होगी|
Rajar Shekhu
रविवार, 21 जनवरी 2018
राशन वितरण की अव्यवस्थाओं से परेशान ग्रामीणों ने बंद करवाया वितरण
बाड़मेर| पंचायत समिति शिव की ग्राम पंचायत पोषाल के ग्रामीणों ने राशन सामग्री समय पर न मिलने और एक महीने के राशन गबन का अंदेशा देखते हुए वितरक द्वारा वितरित राशन का बहिष्कार कर दिया|
ग्रामीण अपने एक महीने के राशन लेने की मांग पर अड़े रहे जबकि वितरक ने कहा कि मशीन खराब होने के कारण अनाज तथा केरोसीन लेप्स हो गया है|
ग्रामीणों का आरोप था कि पर्याप्त स्टॉक होने के बावजूद भी हमें कैरोसीन नहीं मिल रहा है|
देर तक चली बहस के बाद भी मामला तूल पकड़ते देख वितरक ने दुकान बंद कर दी , जिससे दूरदराज घरों से राशन लैने आये लोग बिना राशन लिये वापस चल दिये|
रविवार, 24 दिसंबर 2017
सुरीली आवाज के समन्दर रफी साहब का 93 वां जन्मदिन आज...
आवाज की दुनिया के बेताज बादशाह मोहम्मद रफ़ी या जिन्हें दुनिया रफ़ी साहब के नाम से बुलाती है का आज 93वां जन्मदिवस है. इस मौके पर गूगल ने एक खास डूडल बनाकर उनको समर्पित किया है. मोहम्मद रफ़ी का जन्म 24 दिसंबर 1924 को पंजाब के कोटला सुल्तान सिंह गांव में एक मध्यम वर्गीय मुस्लिम परिवार में हुआ था. आप को ये जानकर हैरानी होगी कि इतने बडे़ आवाज के जादूगर को संगीत की प्रेरणा एक फकीर से मिली थी. कहते हैं जब रफ़ी छोटे थे तब इनके बड़े भाई की नाई दुकान थी, रफ़ी का ज्यादातर वक्त वहीं पर गुजरता था. रफ़ी जब सात साल के थे तो वे अपने बड़े भाई की दुकान से होकर गुजरने वाले एक फकीर का पीछा किया करते थे जो उधर से गाते हुए जाया करता था. उसकी आवाज रफ़ी को अच्छी लगती थी और रफ़ी उसकी नकल किया करते थे. उनकी नकल में अव्वलता को देखकर लोगों को उनकी आवाज भी पसन्द आने लगी. लोग नाई दुकान में उनके गाने की प्रशंशा करने लगे. लेकिन इससे रफ़ी को स्थानीय ख्याति के अतिरिक्त और कुछ नहीं मिला. रफ़ी के बड़े भाई हमीद ने मोहम्मद रफ़ी के मन मे संगीत के प्रति बढ़ते रूझान को पहचान लिया था और उन्हें इस राह पर आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया था.